राष्ट्र विरोधी नारेबाजी मामले में जवाहरलाल नेहरू यूनिवर्सिटी (जेएनयू) की गठित उच्च स्तरीय जांच समिति ने जेएनयूएसयू के पूर्व अध्यक्ष कन्हैया कुमार और उमर खालिद को कोई राहत नहीं दी है। जेएनयू के जांच पैनल ने दोनों की सजा बरकरार रखी है। जेएनयू परिसर में 9 फरवरी 2016 की राष्ट्रद्रोही घटना को लेकर जहां खालिद को यूनिवर्सिटी से निष्कासित कर दिया गया था वहीं कन्हैया कुमार पर दस हजार रुपये जुर्माना लगाया था। जेएनयू की उच्च स्तरीय जांच समिति ने विश्वविद्यालय परिसर में नौ फरवरी 2016 की घटना के मामले में उमर खालिद के निष्कासन और कन्हैया कुमार पर लगाए गए 10,000 रुपए के जुर्माने को बरकरार रखा है। अब जब पहले की सजा बरकरार रखी गई है तो यह भी साफ हो गया है कि उस दिन देश के खिलाफ देशद्रोही नारे लगाए गए थे, जिसका ये लोग दोषी हैं।
मुख्य बिंदु
जेएनयू पैनल ने कन्हैया और खालिद को नहीं दी कोई राहत
उमर खालिद, कन्हैया कुमार और अनिर्बान भट्टाचार्य अभी भी इस मामले में जमानत पर बाहर हैं
शहरी माओवादियों का चेहरा बेनकाब, देखिये विडियो:
गौेरतलब है कि जेएनयू पैनल ने अफजल गुरू को फांसी देने के खिलाफ परिसर में संसद हमले के दोषी अफजल गुरु की बरसी बनाने के मामले में 2016 में खालिद और दो अन्य छात्रों के निष्कासन और छात्रसंघ के तत्कालीन अध्यक्ष कन्हैया पर 10,000 रुपए का जुर्माना लगाया था। 9 फरवरी 2016 को अफजल की बरसी मनाते हुए छात्रों ने राष्ट्रविरोधी नारे लगाए थे। जो वीडियो में भी कैद हुआ था। इसके बाद छात्रों ने दिल्ली उच्च न्यायालय का रूख किया था। अदालत ने विश्वविद्यालय को पैनल के फैसले की समीक्षा के लिए मामला अपीलीय न्यायाधिकरण के समक्ष रखने का निर्देश दिया था। जानकारी के मुताबिक 5 सदस्यीय पैनल ने कन्हैया और खालिद के खिलाफ फैसला बरकरार रखा। लेकिन कुछ छात्रों की जुर्माना राशि कम कर दी गई है। संसद हमले के दोषी आतंकी अफजल गुरु की बरसी बनाने के मामले में देशद्रोह के आरोपों पर फरवरी 2016 में कन्हैया, खालिद और अनिर्बान भट्टाचार्य को गिरफ्तार किया गया। तीनों अभी भी जमानत पर हैं।
अब सवाल ये उठता है कि इन लोगों के माध्यम से रवीश कुमार और बरखा दत्त जैसे पत्रकारों ने देश बांटने का जो प्रयास किया उसका क्या? इसी मामले में अपने चैनल का स्क्रीन काला करने वाला रवीश कुमार आज क्या काला करने वाला है? उस समय जेएनयू में कंडोम नहीं मिलने का उदघोष करने वाली बरखा दत्त को अब क्या कहना है?
URL: JNU Row;high level probe committee upholds punishments for khalid and kanhaiya
keywords: JNU, jnu, jawaharlal nehru university, Anti national slogan, JNU, Umar Khalid, Kanhaiya kumar, punishment, Expulsion