ब्रजेश सिंह सेंगर :-
केवल अपने वोटों को देखें , देश की पूरी अनदेखी ;
निकृष्टतम राजनीति भारत की , पूरी दुनिया में कहीं न देखी ।
देश को हर – स्तर पर लूटें , केवल अपनी वासना-पूर्ति ;
भ्रष्टाचार है – अनाचार है , अब्बासी-हिंदू नेता की मूर्ति ।
मुस्लिम-विरोध की बात झूठ है ,शत-प्रतिशत ये झूठी बात ;
तथाकथित हिंदूवादी दल , मारे केवल हिंदू के लात ।
सोशल-मीडिया वाले फिर भी,मुस्लिम-विरोध का झूठ बोलते ;
इसका उल्टा असर पड़ रहा , हिंदू-वोट उसे मिल जाते ।
अब्बासी-हिंदू भी यही चाहता , रिवर्स-मार्केटिंग करवाता ;
जाने-अनजाने बड़े-बड़े चैनल , इस झांसे में फंस जाता ।
सावधान ओ ! चैनल वालो , दुश्मन को क्यों फायदा देते ?
मुस्लिम-विरोधी उसे बताकर , उसको हिंदू-वोट दिलाते ।
जबकि सबसे – बड़ा विरोधी , धर्म – सनातन का ये ही ;
हिंदू-हृदय-सम्राट नहीं है , पसमांदा-सुल्तान है ये ही ।
शुरू से इसकी गहरी साजिश,मुस्लिम-विरोधी खुद को बताता;
पर उनका सबसे बड़ा हिमायती, पग-पग पर हिंदू मरवाता ।
बड़े-बड़े चैनल वाले सब , भली-भांति अब इसको जानें ;
मुस्लिम-विरोधी इसे मत कहना , हिंदू-विरोधी इसको मानें ।
इसके जितने भी क्रियाकलाप हैं , उनको ठीक तरह परखो ;
हिंदू संग हरदम दगा कर रहा , बुद्धि लगाकर इसको देखो ।
सही रिपोर्टिंग तुमको करना , निष्पक्षता से करना काम ;
लेफ्ट नहीं है न कोई राइट , झूठ का करना काम-तमाम ।
देश की जनता तरस रही है , सच्चे-समाचार पाने को ;
अंतिम-आशा सोशल-मीडिया, क्या तुम भी हो भटकाने को ?
मुस्लिम-विरोधी अब मत कहना,अब्बासी-हिंदू भारत का नेता;
भीतर से ये हिंदू-विरोधी , हिंदू को केवल धोखा देता ।
पत्रकार – खोजी बन जाओ , इसका पूरा जीवन जानो ;
ए सी वाई पी एल की ट्रेनिंग , उसके बारे में सब जानो ।
इसके चेहरे पर कई चेहरे , झूठ – फरेब और मक्कारी ;
केवल लफ्फाजी – जुमलेबाजी , धोखेबाजी की बीमारी ।
मनोरोग है इसे भयंकर , स्टाकहोम – सिंड्रोम का रोगी ;
अय्याशी से भरा है जीवन , कामुक मन का कामुक भोगी ।
इसे नहीं है देश की चिंता , धर्म की कोई बात नहीं ;
केवल अपने लिये ये जीता , घर की भी औकात नहीं ।
बड़े-बड़े भी समझ न पाये , तिलक-त्रिपुंड से मात खा गये ;
चैनल-वालों की क्या हस्ती ? लगता है सब घास खा गये ।