केरल गोल्ड स्मगलिंग केस में मुख्यमंत्री पी विजयन की कुर्सी डोलती नजर आ रही है। इस बीच NIA ने खुलासा किया है कि इस स्मगलिंग के तार अंडरवर्ल्ड सरगना दाऊद इब्राहिम से जुड़े हैं। जिन देशों से यहां सोना पहुंचा है, वहां ‘डी’ गैंग काफी सक्रिय है।
मुख्यमंत्री की महिला करीबी, एक राज्य मंत्री और कई नौकरशाहों के इस केस में फंसे होने के चलते यह कांड ने केरल की राजनीति में जबरदस्त उथल-पुथल मचा रखी है। दरअसल, केरल गोल्ड स्मगलिंग मामले की जांच कर रही राष्ट्रीय जांच एजेंसी (NIA) ने बुधवार को अदालत में बताया है कि केरल सोने की तस्करी मामले में भारत के मोस्ट वॉन्टेड आतंकवादी दाऊद इब्राहिम और उसके गैंग की संदिग्ध भूमिका हो सकती है। आतंक-रोधी एजेंसी ने बताया कि उसके इंटेलीजेंस इनपुट से जानकारी मिली है कि इस सोने के तस्करी में मिली राशि को राष्ट्र-विरोधी और आतंकवादी गतिवधियों में इस्तेमाल किया गया है। राष्ट्रीय जांच एजेंसी ने इस केस में आरोपियों की जमानत का विरोध करते हुए कहा है कि इस केस को लेकर अंडरवर्ल्ड सरगना दाऊद इब्राहिम तथा उसके गैंग की भूमिका की जांच किया जाना जरूरी है।
एजेंसी ने कहा कि सोने की तस्करी से मिलने वाले मुनाफे का इस्तेमाल राष्ट्रविरोधी गतिविधियों और आतंकी कृत्यों में होने की संभावना संबंधी खुफिया जानकारी है। मामले में जांच को आगे बढ़ाने के लिए 180 दिन तक सभी आरोपियों को न्यायिक हिरासत में रखा जाना बहुत जरूरी है।
राष्ट्रीय जांच एजेंसी का कहना है मामले में आरोपी रमीज केटी और सरफुद्दीन ने बताया है कि उसका तंज़ानिया में हीरों का कारोबार था और उसने वो सोना UAE में बेचा था। एनआईए ने कोर्ट में कहा, दोनों आरोपियों ने तंजानिया की यात्रा की थी। वहां अफ्रीकी देशों की बंदूकें बेचने वाली दुकानों में गए थे। तंजानिया में रमीज ने डायमंड बिजनेस का लाइसेंस लेने की कोशिश की। बाद में वे यूएई पहुंचे। वहां से सोना तस्करी कर केरल लाए। तंजानिया और दुबई दोनों ही जगहों पर दाऊद इब्राहिम का ‘डी’गैंग एक्टिव है। तंजानिया में डी-कंपनी का धंधा एक दक्षिण भारतीय व्यक्ति फिरोज ओएसिस देखता है। हमें शक है कि आरोपी रमीज का लिंक डी-कंपनी से है।
गोल्ड स्मगलिंग का आरोपी रमीज नवंबर 2019 में गिरफ्तार हुआ था। उसे 13.22 एमएम बोर की राइफल्स की स्मगलिंग करने के आरोप में पकड़ा गया था। उसकी गिरफ्तारी के समय गोल्ड स्मगलिंग जारी थी।एनआईए ने कोर्ट को बताया कि उनके पास आरोपी सरफुद्दीन की एक ऐसी तस्वीर भी है, जिसमें वह तंजानिया में हाथों में राइफल थामे नजर आ रहा है।
राष्ट्रीय जांच एजेंसी ने अपनी दलील में UN सिक्योरिटी काउंसिल सैंक्शन्स कमिटी की ओर से दाउद इब्राहिम पर की गई टिप्पणी का ज़िक्र किया है। दाउद गैंग की अफ्रीका में गतिविधियों पर अमेरिका के डिपार्टमेंट ऑफ ट्रेज़री की तरफ से प्रकाशित की गई फैक्ट शीट भी जोड़ी है।
केरल गोल्ड स्मगलिंग में दाऊद इब्राहिम के नाम का खुलासा होते ही खलबली मच गई है क्योंकि दाऊद साल 1993 में हुए मुंबई बम धमाके के बाद से भारत से फरार है। पाकिस्तान में छिपे बैठे दाऊद इब्राहिम को पकड़ने के लिए भारत में कई कोशिशें की लेकिन अब तक वह पुलिस गिरफ्त से बाहर है।
ज्ञात हो कि केरल के गोल्ड स्मगलिंग का यह मामला 5 जुलाई को सामने आया था। कस्टम विभाग के अफसरों ने एक डिप्लोमेटिक बैगेज से 15 करोड़ रु. कीमत का सोना पकड़ा था। बैगेज यूएई से भेजा गया था। विदेश मंत्रालय से इजाजत मिलने के बाद इसे खोला गया था। जांच के बाद बैगेज में करीब 15 करोड़ रुपए कीमत का 30 किलोग्राम सोना मिला था। इस मामले को लेकर केरल सरकार की आलोचना हो रही है।
पहले मामले की जांच कस्टम डिपार्टमेंट ने शुरू की थी। बैग जिस डिप्लोमेट के नाम पर लाया गया था, उसे हिरासत में लेकर पूछताछ की गई थी। राज्य के कुछ अफसरों से इसके तार जुड़े थे।
मुख्यमंत्री पिनराई विजयन के प्रिंसिपल सेक्रेटरी आईएस अधिकार एम शिवशंकर का नाम भी इसमें सामने आया था। इसके बाद मुख्यमंत्री ने उन्हें पद से हटा दिया था। बाद में विदेश मंत्रालय ने जांच एनआईए को सौंपने की मंजूरी दे दी थी।
30 किलो सोने ने राजनीतिक हलकों में हंगामा मचा रखा है और विपक्षी दल मुख्यमंत्री विजयन पर सवाल उठा रहे हैं तो कई शक्तिशाली अधिकारियों पर अब तक गाज गिर गई है। मुख्यमंत्री की करीबी स्वप्ना सुरेश समेत कई आरोपी पकड़े जा चुके हैं जबकि राज्य मंत्री के टी जलील भी फंसे हैं।
इस बहुचर्चित केस को लेकर केरल के कई नौकरशाहों और मंत्रियों की रातों की नीद हराम हो गई है, क्योंकि सनसनीखेज सोना तस्करी मामले के सूत्र आतंकवाद से जुड़ रहे हैं और मुख्यमंत्री पी विजयन भी बुरी तरह से फंसतेेेे नजर आ रहे ।
सूत्रों का दावा है कि है मामले की प्रमुख आरोपी स्वप्ना सुरेश से पूछताछ के दौरान कई मंत्रियों और नौकरशाहों के साथ उसके संबंधों का पता चला है। दाऊद इब्राहिम से कनेक्शन उजागर होनेेे के बाद तो केरल की राजनीति में खलबली मची हुई है।
सूत्रों का कहना है कि मुख्यमंत्री की महिला करीबी स्वप्ना के मोबाइल नंबर के काल डिटेल रिकॉर्ड्स (सीडीआर) से पता चला है कि स्वर्ण तस्करी की इस गोरखधंधे में राज्य के उच्च शिक्षा और अल्पसंख्यक कल्याण मंत्री के.टी. जलील जुड़े हैं। स्वप्ना सुरेश तथा उसके साथी संदीप नायर अबतक विदेश से 150 किलोग्राम से अधिक सोने की तस्करी कर चुके हैं। उसमें से अधिकांश का इस्तेमाल आतंकवाद संबंधित गतिविधियों में किया गया है।