भारत की सबसे बड़ी समस्या , गुंडे और अपराधी हैं ;
पुलिस बहुत कमजोर है तेरी , संख्या में भी आधी है ।
कहीं नहीं कानून का शासन , पूरा गुंडाराज है ;
कमजोर कहीं भी जी नहीं सकता , पूरा जंगलराज है ।
महामूर्ख है मूलनिवासी , पैसे में सब भूल गया ;
लक्ष्मी पूजन करते करते , धन को ईश्वर मान लिया ।
चारों ओर खूंखार भेड़िये , राष्ट्र को हर पल नोंच रहे ;
पर गफलत में सत्ताधारी , गुंडों के हाथों नाच रहे ।
जिनका काम है रक्षा करना , जर्जर हैं भ्रष्टाचार से ;
मूलनिवासी लूटता पिटता , त्रस्त हैं अत्याचार से ।
इसी वजह से तू सत्ता पर , गुंडाराज हटाना है ;
पर तू तो डरता रहता है , क्या गुंडाराज बढ़ाना है ?
पता नहीं क्या कमजोरी है ? गुंडागर्दी सहता है ;
सदा पुलिस पिटवाता रहता , गोली न चलवाता है ।
गांधी की अहिंसा त्यागो , वो तो बस कायरता है ;
सावरकर सा वीर बनो तुम , जो सर्वोच्च निडरता है ।
सच्चा राष्ट्रपिता सावरकर , उसका ही अनुसरण करो ;
गर्व से हिंदू राष्ट्र बनाओ , इसी मार्ग पर चरण धरो ।
सच्चे राष्ट्रभक्त जितने हैं , उनका ही इतिहास पढ़ाओ ;
पाठ्यक्रम में शामिल करके , सब झूठा इतिहास हटाओ।
उनको पिल्लो का पाठ पढ़ाया , जो कि सिंह के शावक हैं;
अब सच्चा इतिहास पढाओ ,भविष्य राष्ट्र के बालक हैं ।
आक्रमणकारियों के जो वंशज,अब भी आक्रमण करते हैं;
गांधी की धोखेबाजी से , मूलनिवासी मरते हैं ।
हरेक मूर्ति तोड़ो गांधी की , सावरकर की प्रतिमा लाओ;
राष्ट्र बचाना आवश्यक है , फौरन हिंदू राष्ट्र बनाओ ।
हिंदू राष्ट्र बनेगा भारत , न्याय की गंगा आयेगी ;
आतंकवाद सब मिट जायेगा , धरा शांति पा जायेगी ।
“वंदे मातरम -जय हिंद”
रचनाकार :ब्रजेश सिंह सेंगर “विधिज्ञ”