आईएसडी रिपोर्टर। बड़े चैनल को दिए इंटरव्यू से लेकर सुशांत सिंह राजपूत की बहनों के खिलाफ प्रकरण दर्ज कराने की कोशिशें काम नहीं आई। बहुत दिन तक गिरफ्तारी से बचती रही रिया को मंगलवार की दोपहर नारकोटिक्स कंट्रोल ब्यूरो ने गिरफ्तार कर लिया। ये गिरफ्तारी ड्रग्स को लेकर की गई थी। एनडीपीएस के तहत रिया पर काफी सख्त धाराएं लगाईं गई है। रिया के वकील की ओर से ज़मानत याचिका लगाने की खबर आई है। गिरफ्तारी के बाद रिया का मेडिकल टेस्ट करवाया गया। रिया का कोरोना टेस्ट भी करवाया गया। इसके पहले एनसीबी ने तीन दिन तक रिया से कड़ी पूछताछ की थी।
उससे अकेले पूछताछ करने के बाद शौविक और सैम्युअल मिरांडा के सामने बैठाकर पूछताछ की गई थी। एनसीबी रिया के जवाबों से संतुष्ट नहीं थी। पहले से ही वह पूछताछ में लगातार असहयोग कर रही थी। रात 8 बजे एनसीबी को कोर्ट में पेश कर 14 दिन की न्यायिक हिरासत की मांग की।
वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से रिया को कोर्ट में पेश किया गया था। एनसीबी ने रिया की कस्टडी नहीं मांगी थी और वह पहले ही तय कर चुकी थी कि रिया की ज्यूडिशियल कस्टडी मांगी जाए। एजेंसी ने कहा कि उनके पास रिया के खिलाफ ठोस सबूत और गवाह हैं। सीबीआई जाँच के बीसवें दिन तक सुशांत सिंह राजपूत हत्या प्रकरण में दस गिरफ्तारियां हो चुकी हैं। इनमे सबसे प्रमुख गिरफ्तारी रिया चक्रवर्ती की है। रिया चक्रवर्ती के खिलाफ एनडीपीएस एक्ट की धारा 8 (c), 20 (b) (ii), 27(a), 28 और 29 में मामला दर्ज किया गया है।
रिया चक्रवर्ती के वकील की ओर से ज़मानत याचिका लगाई गई थी, जिसका नारकोटिक्स कन्ट्रोल ब्यूरो ने ये कहते हुए विरोध किया कि उनके पास रिया के खिलाफ ठोस सबूत हैं। रिया और शौविक से पूछताछ में कुल 25 बॉलीवुड के सितारों के नाम आए हैं।
ये तय है कि जल्द ही इनके नामों का खुलासा किया जाएगा कि ड्रग्स में लिप्त ये कौनसे सितारें हैं। एनसीबी ने बताया है कि रिया एक ऐसे ड्रग सिंडिकेट का हिस्सा है, जो बॉलीवुड की हाई प्रोफ़ाइल पार्टियों में ड्रग्स सप्लाई करता है। इसी सिंडिकेट की तह में जाने के लिए एनसीबी मुंबई के पाश इलाकों में लगातार छापेमारी कर रही है। एनसीबी को छापेमारी में बड़ी मात्रा में विदेशी करेंसी और ड्रग्स मिला है। ये छापेमारी पूर्व में गिरफ्तार किये गए ड्रग पैडलर्स की निशानदेही पर की गई थी।
एनडीपीएस कोर्ट में सुनवाई लगभग एक घंटे तक चली। रिया चक्रवर्ती के वकील सतीश मानशिंदे ने उसे ज़मानत देने की अपील की जबकि एनसीबी के वकील ने ठोस सबूत का हवाला देते हुए 14 दिन की न्यायिक हिरासत को आवश्यक बताया। कोर्ट ने सतीश मानशिंदे की अपील को खारिज करते हुए 21 सितंबर तक जेल भेज दिया। अब ये केस सही दिशा में जा रहा है। जांच अब एम्स द्वारा दिए गए फोरेंसिक जाँच के तथ्यों पर आ टिकी है। इसके बाद सीबीआई सुशांत सिंह राजपूत के हत्या वाले एंगल पर जाँच कर सकेगी।