केंद्र में भारतीय जनता पार्टी की सरकार है और गृह मंत्रालय के अधीन राजधानी की कानून व्यवस्था है लेकिन स्थिति बद से बदतर होती जा रही है। दिल्ली में मलेच्छ कई बार हिंदुओं को मौत के घाट उतारा और इस बार मलेच्छ समुदाय ने बजरंग दल कार्यकर्ता को भी नहीं बख्शा। बताया जाता है कि रंजीत नगर इलाके में बजरंग दल से जुड़े एक युवक की पीट-पीटकर हत्या कर दी गई। मृतक की शिनाख्त नितेश कुमार (27) के रूप में हुई है। आरोप है कि बुधवार रात को इस समुदाय के लोगों ने नितेश और उसके दोस्त आलोक व मोंटी की लाठी-डंडों और रॉड से बुरी तरह से पिटाई कर दी थी।
घटना के बाद गंभीर रूप से घायल नितेश को सफदरजंग अस्पताल में भर्ती कराया गया, जहां इलाज के दौरान शनिवार रात उसने दम तोड़ दिया। बजरंग दल कार्यकर्ता नितेश की मौत से गुस्साए शादीपुर के ग्रामीणों ने पटेल नगर मुख्य सड़क पर जाम लगा दिया। लोगों का आरोप था कि दूसरे समुदाय के लोगों ने जानबूझकर नितेश की हत्या की। करीब दो घंटे बाद पुलिस ने किसी तरह समझाकर लोगों को सड़क से हटाया। जिला पुलिस का कहना है कि झगड़ा दो समुदायों का नहीं है। लड़कों के दो गुटों के बीच झगड़ा हुआ था।
इसकी शुरुआत भी नितेश की ओर से की गई थी, घटना सीसीटीवी में कैद है। उन्होंने दूसरे समुदाय का बचाव किया और घटना को सांप्रदायिक रंग देने की कोशिश करने वाले की आलोचना की। उनका कहना था कि पुलिस ने आरोपी उजेफा, अदनान और अब्बास की पहचान कर ली है। आरोपियों की तलाश में कई टीमें बनाकर उनकी तलाश की जा रही है। वारदात में इस्तेमाल उनकी बाइक भी बरामद कर ली गई है। सूत्रों का दावा है कि नितेश अपने परिवार के साथ शादीपुर गांव में रहता था।
इसके परिवार में मां कमलेश के अलावा छोटा भाई पुनीत है। करीब सात साल पहले इसके पिता विजय कुमार फोर की मौत हो गई थी। ग्रेजुएशन करने के बाद नितेश ने कुछ दिनों नौकरी की थी। फिलहाल वह घर पर था। नितेश बजरंग दल से जुड़ा हुआ था। उसके ताऊ का बेटा दीपक राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ से जुड़ा है। घटना के बारे में बताया जाता है कि बुधवार देर रात नितेश मोहल्ले के ही रहने वाले अपने दोस्त आलोक और मोंटी के साथ मंदिर वाली गली में टहल रहा था। इस बीच दूसरे मोहल्ले के तीन युवक बाइक पर वहां पहुंचे।
तीनों बाइक से लगातार हॉर्न बजा रहा था। नितेश ने इसका विरोध किया तो आरोपी गाली-गलौज करने लगे। इसी बात पर नितेश का लड़कों से झगड़ा होने लगा। हाथापाई के कुछ ही देर बाद करीब 15-20 लोग एक मस्जिद से निकलकर वहां पहुंचे। आरोपियों ने नितेश, आलोक और मोंटी पर लाठी, डंडे और रॉड से हमला कर दिया। हमले में नितेश गंभीर रूप से घायल हो गया। बाद में सभी आरोपी फरार हो गए। गंभीर हालत में पहले नितेश को नजदीकी अस्पताल ले जाया गया, जहां से उसे सफदरजंग रेफर कर दिया गया।
इलाज के दौरान शनिवार देर रात को नितेश की मौत हो गई। हमले में मोंटी और आलोक को मामूली चोट लगी थी। पुलिस ने रविवार को पोस्टमार्टम के बाद नितेश का परिवार के हवाले कर दिया। पुलिस ने नीतीश और आलोक को अपराधी प्रवृत्ति का बताया जबकि आरोपी के प्रोफाइल के बारे में पुलिस को ठीक जानकारी नहीं है ,स्थानीय लोगों का आरोप था कि पुलिस ने मामले में अभी तक कोई कार्रवाई नहीं की है। नितेश की मौत के बाद ग्रामीणों में घटना को लेकर खासा रोष है।
अपना विरोध जताने के लिए ग्रामीणों ने अपनी पूरी मार्केट रविवार को बंद रखी। स्थानीय लोगों का आरोप था कि दूसरे समुदाय के लोगों की वजह से एरिया में अपराध बढ़ा हुआ है। कई बार पुलिस से इस संबंध में शिकायत की गई, लेकिन पुलिस कोई कार्रवाई नहीं करती है। नितेश की अस्थियां विसर्जित करने के बाद शादीपुर और खामपुर गांव की संयुक्त पंचायत होगी। उसमें आगे की रणनीति को लेकर फैसला किया जाएगा। लेकिन भाजपा तथा राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ और बजरंग दल के बड़े नेता मृतक के घर अब तक नहीं पहुंचे हैं