
गरीबी पर लिखी शायरी लोगों को खूब रुलाती है,
और शायर का जमीर यूं ही बंजर बना रहता है!
देख लीजिए, जावेदों और गुलज़ारों का जीवन,
उनकी बेगमों का दर्द और पीड़ा
और उनका अभिजात जीवन
फैब इंडिया का उनका कुर्ता,
और अर्द्धनग्न गरीबों पर ग्लिसरीन वाला
उनका वह चिलमन!
उनकी कलम हल जोतती रहती है,
पन्ने दर्द की गहराई मापने को
लगातार फटते रहते हैं,
और जेहन में पल-पल
प्रगतिशीलता का दंभ पलता रहता है!
वातानुकूलित कमरे में,
आराम कुर्सी पर बैठकर
शायर जब चिलचिलाती गर्मी को
कागज पर उगलता है,
महफिलें वाह वाह कह उठती हैं,
व्हिस्की के नये पैग के साथ,
तब गरीबी पर
एक और नयी शायरी जन्म ले लेती है…!
गरीबी पर लिखी शायरी लोगों को खूब रुलाती है,
और शायर का जमीर यूं ही बंजर बना रहता है!
संदीपदेव #sandeepdeo #sdeo76 #कविता #poetry