बिहार में जंगल राज के संस्थापक लालू यादव और माफिया डॉन शाहबुद्दीन जिस तरह जेल से शासन चला रहे थे, कुछ ऐसा ही लालू एम्स से करना चाहते थे, लेकिन उनकी दाल नहीं गली! कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी से लेकर हर पार्टी के साथ लालू एम्स में बैठक कर रहे थे। एक भ्रष्टाचारी सजायाफ्ता कानून का खुलेआम मजाक बना रहा था! जब एम्स ने उन्हें फिट पाकर डिस्चार्ज कर दिया तो पूरे एम्स पर ही उनके गुंडों ने हमला बोल दिया। एम्स का कैथ लैब तोड़ डाला गया। मरीजों को दहशत से भर दिया गया। एम्स प्रशासन ने FIR दर्ज कराया है। इस मसले पर तथ्यगत रिपोर्ट से अवगत करा रही हैं हमारी वरिष्ठ सहयोगी मोनिका…
चारा घोटाले में सजायाफ्ता बिहार के पूर्व मुख्यमंत्री लालू प्रसाद यादव को एम्स से डिसचार्ज करने के मामले में एम्स का कहना है कि मेडिकल कंडीशन के आधार पर लालू को छुट्टी दी गई है, जबकि लालू ने छुट्टी के बाद कहा कि अगर उन्हें कुछ होता है तो इसके लिए एम्स जिम्मेदार होगा। इस विवाद के बाद एम्स ने बयान जारी कर कहा है कि रांची रिम्स से दिल्ली एम्स पहुंचने के बाद लालू प्रसाद यादव का इलाज मेडिकल बोर्ड की निगरानी में चल रहा था।
दूसरी तरफ एम्स प्रशासन का आरोप है कि लालू यादव को छुट्टी दिए जाने पर उनके समर्थकों ने अस्पताल के कैथ लैब में तोड़फोड़ किया। एम्स ने इस मामले को लेकर पुलिस में शिकायत दर्ज कराई है। सोमवार दोपहर लालू यादव को डिस्चॉर्ज कराने को लेकर उठे विवाद को लेकर कुछ लोगों ने एम्स की कैथ लैब में तोड़फोड़ की और वहां तैनात सुरक्षा गार्डों से मारपीट भी की। इस घटना में एम्स के एक सुरक्षा गार्ड को मामूली रुप से चोटें भी आई हैं। एम्स में लगे सीसीटीवी फुटेज के अनुसार झड़प के दौरान लालू प्रसाद यादव और एम्स निदेशक डॉ. रणदीप गुलेरिया मौजूद थे।
विवाद के बाद लालू शाम करीब चार बजे एम्स से रांची रिम्स के लिए रवाना हुए। इलाज के लगभग एक महीने बाद मेडिकल बोर्ड की रिपोर्ट के आधार पर शनिवार को एम्स से उन्हें डिस्चॉर्ज करना था। लेकिन लालू यादव ने सोमवार को रांची जाने की इच्छा जाहिर की। जिसके बाद एम्स ने उन्हें 30 अप्रैल को रांची भेजने के लिए कागजी कार्रवाई की।
एम्स के बयान के अनुसार मेडिकल बोर्ड ने लालू यादव की सेहत में सुधार आने और उन्हें वापस रिम्स जाकर क्रोनिक संबंधी परेशानी का इलाज कराने की सलाह दी थी। फिलहाल उनकी सेहत स्थिर है और वे दिल्ली से रांची की यात्रा करने के लिए फिट हैं।
इस मामले में पुलिस को दी शिकायत में एम्स के सुरक्षा अधिकारी दीपक कुमार ने बताया है कि सोमवार दोपहर करीब 12 बजकर 45 मिनट पर लालू प्रसाद यादव के समर्थन में 8 से 10 लोगों ने एम्स के कर्मचारियों के साथ अभद्र व्यवहार किया। साथ ही अस्पताल परिसर में लालू यादव को डिस्चॉर्ज करने के खिलाफ नारेबाजी करने लगे। कुछ लोगों ने कैथ लैब का दरवाजा तोड़ दिया। इन लोगों को रोकने का प्रयास करने पर एक सुरक्षा गार्ड खुर्शीद आलम घायल हो गया।
लालू की बीमारी को लेकर एम्स की तरफ से जारी बयान के अनुसार करीब एक महीने पहले हाई ब्लड शुगर, इंफेक्शन और मलद्वार में फोड़े की शिकायत को लेकर लालू रिम्स रांची से एम्स रेफर किया गया था। उन्हें पहले से हार्ट और किडनी की बीमारी है।
एम्स प्रशासन के अनुसार इसके लिए मेडिसीन, सर्जरी, कार्डियोलॉजी, एंडोक्रायोनोलॉजी ओर नेफ्रोलॉजी के डॉक्टरों की एक टीम बनाई गई। जिन्होंने ब्लड शुगर और इंफेक्शन को कंट्रोल के लिए पहले इंजेक्शन से दवा दी। जिससे राहत मिलने के बाद इसके लिए इन्हें ओरली दवा दी गई।
साथ ही इनके दिल और किडनी के जांच भी कराए गए जो ठीक आए। बुखार नहीं आने की वजह से एंटीबायोटीक भी बंद कर दी गई थी। उनके मेडिकल कंडीशन को देखते हुए 28 अप्रैल को इनकी जांच की गई। जांच में सब ठीक पाने के बाद डॉक्टरों की टीम ने इन्हें रिम्स भेजने की सलाह दी है। ज्ञात हो कि लालू यादव 29 मार्च से एम्स के ओल्ड प्राइवेट वार्ड के रूम नंबर 101 में भर्ती थे।
URL: RJD chief Lalu Prasad’s discharge from AIIMS
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