यासीन मलिक जब कांग्रेस सरकार का दामाद था, पंचमक्कारों का यार था और लुटियंस मीडिया का हीरो था तब दैनिक जागरण (2007) में उसे एक्सपोज करते हुए खबरों की यह 👇 श्रृंखला की थी।


कल अदालत में जब उसने स्वीकारा कि वह आतंकी है तो लगा कि एक पत्रकार के नाते मेरी लड़ाई अंतिम परिणाम तक पहुंच गई। 19 May को उसे सजा सुनाई जा सकती है।
कांग्रेस संचालित UPA सरकार ने तो उसके आतंक की फाईल ही नष्ट कर दी थी, जिसे एक्सपोज करने का जोखिम मैंने उस दौर में लिया जब खुद तब के प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह यासीन को अतिथि बना रहे थे और इंडिया टुडे उसे ‘यूथ आइकॉन’ घोषित कर रहा था।
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