विपुल रेगे। नए संसद भवन के उद्घाटन के साथ एक रहस्योद्घाटन और हो गया। अक्षय कुमार और अनुपम खेर के साथ शाहरुख़ खान भी प्रधानमंत्री मोदी की प्रचार ब्रिगेड का हिस्सा बन गए हैं। शाहरुख़ ने संसद के उद्घाटन पर एक वीडियो बनाकर अपलोड किया और प्रधानमंत्री ने उसे रीट्वीट करने में तनिक भी देर नहीं लगाई। बॉलीवुड के कलाकारों को संसद भवन की ओपनिंग में किसी प्रकार भी शामिल करना क्या सही है ? माना कि वे देश के नागरिक हैं लेकिन उनके साथ विमल पान मसाला व और भी अप्रिय विवाद जुड़े हुए हैं।
विगत नौ वर्ष से देखा जा रहा है कि वर्तमान सरकार ने अपने अभियानों और चुनाव प्रचार के लिए बॉलीवुड का अतिशय लाभ उठाया है। बॉलीवुड के जो कलाकार मोदी सरकार का सपोर्ट करते हैं, उन्हें आप अलग ही पहचान सकते हैं। सलमान ख़ान ने प्रधानमंत्री के लिए पतंग उड़ाई। अक्षय कुमार ने प्रधानमंत्री का हैरतअंगेज इंटरव्यू लिया, जिसके बाद अक्षय का नाम ही ‘आमलाल’ रख दिया गया। अनुपम खेर ने तो खुले तौर पर सरकार और भाजपा का समर्थन किया है।

अब इस कड़ी में आप शाहरुख़ का नाम सहजता के साथ जोड़ सकते हैं। लगभग एक वर्ष पहले तक शाहरुख़ और केंद्र में खींचातानी का माहौल बना हुआ था। शाहरुख़ खान के बेटे आर्यन खान के ड्रग्स केस में फंसने के बाद बॉलीवुड की ओर से बहुत से कलाकारों ने शाहरुख़ के पक्ष में मोदी सरकार की खिंचाई तक कर डाली थी। उस समय महाराष्ट्र में उद्धव ठाकरे की सरकार थी। शाहरुख़ खान को लेकर सरकार का रुख़ ‘पठान’ रिलीज होने से पहले बदला हुआ था। भाजपा नेता आए दिन शाहरुख़ खान को लेकर कोई न कोई बयान दे रहे थे।
मुंबई में शाहरुख के बेटे के ड्रग्स केस में फंसने के बाद ये हमले और तेज़ हो गए थे। शाहरुख़ को गाली देने वाले भाजपा नेताओं की एक लंबी लिस्ट बनाई जा सकती है। कैलाश विजयवर्गीय, डॉ.नरोत्तम मिश्रा, राम कदम, उमा भारती, भाजपा सांसद प्रज्ञा सिंह ठाकुर, हरिभूषण ठाकुर बचौल आदि नेताओं ने शाहरुख़ को तब तक निशाने पर रखा, जब तक कि भाजपा कार्यकारिणी की बैठक में प्रधानमंत्री ने बयानबाज़ी न करने की नसीहत दे डाली। भाजपा नेताओं और केंद्र सरकार के मन में शाहरुख़ के लिए प्रेम की अनुभूति प्रकाश की गति से हुई है।
इसी साल जनवरी में शाहरुख़ की ‘पठान’ रिलीज होने से पहले तक शाहरुख़ भाजपा के लिए जलता हुआ अंगार थे लेकिन मोदी जी की एक नसीहत ने उस आग पर ठंडा पानी डाल दिया। पिछले दिनों आर्यन खान को ड्रग्स केस में गिरफ्तार करने वाले नारकोटिक्स अधिकारी समीर वानखेड़े पर सीबीआई ने भ्र्ष्टाचार का केस दर्ज किया। इसके बाद ही कई राजनितिक विश्लेषकों ने संभावना जता दी थी कि केंद्र और शाहरुख़ के बीच दूरिया मिटने जा रही है। अब भाजपा नेताओं को शाहरुख़ से कोई समस्या नहीं है। शाहरुख़ खान को भी भाजपा की वाशिंग मशीन में नहला दिया गया है।
आर्यन खान की गिरफ्तारी के बाद भाजपा नेताओं द्वारा शाहरुख़ को पाकिस्तानी समर्थक बताया जा रहा था, तब एनसीपी नेता छगन भुजबल ने कहा था कि अगर शाहरुख खान बीजेपी में शामिल हो जाएं तो ‘मादक पदार्थ शक्कर’ बन जाएंगे। वे मादक पदार्थ वाकई में ‘शक़्कर’ बन गए हैं। आज शाहरुख़ खान पाकिस्तानी समर्थक से सीधे संसद भवन का आख्यान कहने वाले ‘चारण’ बन गए हैं।
दोनों उंगलिया होठों पर रखकर शाहरुख़ ने कहा ‘ ये तो अपनी जुबां है।’ इस पर भाजपा ने कहा ‘जुबां एक हो तो दिल भी एक होने चाहिए।’ आज शाहरुख़ और भाजपा की जुबां भी एक है और दिल भी एक।