अर्चना कुमारी। पड़ोसी देश पाकिस्तान और उसकी खुफिया एजेंसी आईएसआई दिल्ली को टारगेट पर रखा है । पिछले 7 साल साल से इनकी एक नहीं चल रही है लेकिन डेढ़ साल में तीन बार दिल्ली को दहलाने की कोशिश की गई । गनीमत रही है कि राजधानी के लोग अब तक बाल बाल बचे रहे हैं और उन्हें कोई भी त्रासदी नहीं झेलना पड़ा ।
पुलिस सूत्रों का कहना है कि आईएसआई स्लीपर सेल के जरिए दिल्ली में सीरियल बम धमाके को अंजाम देकर सैकड़ों बेगुनाह लोगों की जान लेने के लिए अमादा है। इसके अलावा बेगैरत मुल्क पाकिस्तान पंजाब और कश्मीर में भी अशांति फैलाना चाहता है। कश्मीर में तो आए दिन आतंकी वारदात होती रहती है लेकिन जिस दिन गाजीपुर में विस्फोटक मिला, उसी दिन पंजाब के अटारी बॉर्डर के समीप आरडीएक्स बरामद किया गया था।
खुफिया एजेंसियों ने इस बारे में आशंका व्यक्त की है कि एक साथ कई राज्यों में आतंकी वारदात को अंजाम देने के लिए इस तरह की साजिश तैयार की गई थी वैसे दिल्ली के गाजीपुर फूल मंडी में धमाके के लिए रखा आईईडी से पहले दिल्ली को दहलाने के लिए पाक समर्थित आंतकवादी बुद्धा गार्डन एवं इजरायल दूतावास के पास भी हमले का प्रयास किया गया था।
पुलिस सूत्रों का कहना है कि केंद्रीय खुफिया एजेंसी ने दिल्ली को टारगेट किए जाने को लेकर हाल ही में अलर्ट जारी किया था जबकि आमतौर पर गणतंत्र दिवस के अवसर पर इस तरह का अलर्ट पहले से ही मौजूद होता है। सुरक्षा एजेंसियों का कहना है कि लंबे समय बाद दिल्ली में आतंक एक बार फिर पैर पसारता हुआ दिख रहा है और इसके लिए दिल्ली में मौजूद स्लीपर सेल जिम्मेदार है।
स्पेशल सेल ने पहले प्रतिबंधित संगठन सिमी और बाद में इंडियन मुजाहिदीन के आतंकियों को गिरफ्तार कर पाक समर्थित आंतकवादी संगठनों तथा स्लीपर सेल की कमर तोड़ दी थी लेकिन कहीं न कहीं अब आतंकी संगठन लश्कर और आईएसआईएस जैसे पाकिस्तान पोषित आतंकवादी संस्था उकसाने पर यहां मौजूद स्लीपर सेल को आतंकी वारदात को अंजाम देने के लिए सक्रिय कर रहे हैं।
इसके लिए जिहाद के नाम पर बरगलानेेे से लेकर मोटी रकम देने का लालच दिया गया है। सूत्रों का कहना है कि बीते डेढ़ वर्ष के भीतर दिल्ली को 3 बार टारगेट किया गया और दिल्लीवासी खुशकिस्मत रहे कि तीनों ही बार कोई बड़ा नुकसान नहीं हुआ लेकिन समय- समय पर हो रही इन आतंकी घटनाओं ने तमाम सुरक्षा एजेंसियों खासकर दिल्ली पुलिस के लिए बड़ी चुनौती खड़ी कर दी है ।
एक बात तो साफ हुई है कि स्थानीय लोग भी काफी जागरूक और चौकस हुए हैं। गाजीपुर मामले में तो मंडी में फूल लेने पहुंचे एक शख्स की सूझबूझ ने कई जानें बचा लीं। छानबीन में पता चला कि शुक्रवार सुबह न्यू अशोक नगर के रहने वाले अनुपम नाम के व्यक्ति स्कूटी से मंडी में फूल लेने पहुंचे थे। स्कूटी उन्होंने गेट पर ही खड़ी की थी। फूल खरीदने के बाद जब वह अपनी स्कूटी के पास पहुंचे तो एक लावारिस बैग देखकर दंग रह गए। उन्होंने तुरंत पुलिस को फोन कर लावारिस बैग की सूचना दी।
जिसके बाद मौके पर पहुंची सुरक्षा एजेंसियों ने बम को निष्क्रिय कर दिया। अनुपम का कहना था कि बचपन से सुनते आ रहे हैं लावारिस वस्तु को न छुएं, और इसमें बम हो सकती है। इसी को ध्यान में रखते हुए उन्होंने मामले की सूचना पुलिस को दी। उन्हें जरा भी अंदाजा नहीं था ,बैग में बम हो सकता है। ऐसे जागरूक लोगों पर पुलिस को काफी खुशी है और ऐसे लोग इनाम के भी पात्र हैं, इसी वजह से अनुपम को उचित इनाम दिए जाने की सिफारिश की गई है।
पुलिस सूत्रों का दावा है कि 22 अगस्त 2020 को दिल्ली दहलाने के मकसद से आईएसआईएस का संदिग्ध आतंकी अब्दुल युसुफ खान दिल्ली में आया था और दिल्ली पुलिस स्पेशल सेल ने बुद्धा गार्डन के पास से उसे मुठभेड़ के बाद गिरफ्तार किया था। पुलिस ने उस समय एक कॉल को इंटरसेप्ट किया था और जिसके बाद पुलिस की तरफ से तत्काल कार्रवाई की गई तथा आतंकी के कब्जे से आईईडी बरामद हुआ था।
दबोचे गए आतंकवादी ने खुलासा किया था कि आईडी वह भीड़भाड़ वाली जगह पर लगाने आया था ताकि अधिक से अधिक लोग मारेे जाएं। पिछले साल बीटिंग रिट्रीट समारोह से ठीक पहले इजरायल दूतावास के पास 29 जनवरी की शाम को धमाका हुआ था लेकिन इसमें किसी का कोई नुकसान नहीं पहुंचा था कुछ गाड़ियां अवश्य क्षतिग्रस्त हुई थी।
मामला एनआईए केेे पास पहुंचा और इस बीच दिल्ली पुलिस नेे इस मामले को लेकर 4 कथित छात्रों को पकड़ा लेकिन उनके खिलाफ कोई साक्ष्य नहीं मिले और इसके चलते उन्हें डिस्चार्ज कर दिया गया लेकिन फिलहाल आतंकी हमले का खतरा अभी टला नहीं है। इस वजह से दिल्ली मेंं रहने वाले लोगों को और अधिक सतर्क रहने की जरूरत है।
पाक पोषित आतंकी एक बार फिर दिल्ली को निशाना बनाने की फिराक में है और इस काम को अंजाम देनेेे के लिए स्लीपर सेल सक्रिय हो गई लगती है जबकि एक तरफ जहां सुरक्षा एजेंसियां अलर्ट पर हैं तो वहीं दूसरी तरफ स्थानीय लोगों को भी सावधान रहने की आवश्यकता है ताकि आतंकी घटनाओं को रोका जा सके।