अगर मोदी सरकार अपनी इस प्रक्रिया को मूर्त रूप दे देती है तो वाकई में नक्सलियों आर्थिक कमर टूटने में देर नहीं लगेगी। दरअसल मोदी सरकार ने एक अनुशासनात्मक समूह बनाने का फैसला किया है जो नक्सलियों को निर्बाध रूप से मिल रही फंडिंग का न सिर्फ पता लगाएगा बल्कि उसे रोकेगा भी। इसके लिए गृह मंत्रालय ने भी अपनी कमर कस ली है। अगर यह प्रक्रिया शुरू हो जाती है तो नक्सलियों के अत्याचार को रोकने में यह कदम मील का पत्थर साबित होगा।
मुख्य बिंदु
* नक्सलियों को मिल रहे फंडिंग को रोकने मोदी सरकार ने बनाया अनुशासनात्मक समूह
* खुफिया और जांच एजेंसियों के अलावा सीबीआई और ईडी के लोगों को किया जाएगा शामिल
वामपंथी नक्सलियों को मिल रहे फंडिंग को रोकने के लिए मोदी सरकार ने एक सख्त कदम उठाया है। उनकी निर्बाध फंडिंग पर अंकुश लगाने के लिए मोदी सरकार ने विभिन्न अनुशासनात्मक समूह का गठन किया है। इस संदर्भ में टाइम्स ऑफ इंडिया में प्रकाशित खबर के मुताबिक अनुशासनात्मक समूहों को वामपंथी आतंकवादी ग्रुप्स से लोहा ले रहे केंद्रीय और प्रांतीय सरकारों की खुफिया और जांच एंजेसियों के साथ समाहित किया जाएगा। अनुशासनात्मक समूह में शामिल लोग नक्सलियों को मिल रही फंडिंग का पता लगाने के साथ ही उसे रोकने का काम करेंगे।
इस संदर्भ में पीटीआई रिपोर्ट के मुताबिक अनुशासनात्मक समूह में जिन लोगों को रखा जाएगा वे खुफिया ब्यूरो, प्रवर्तन निदेशालय, NIA, सीबीआई के अलावा अन्य एंजेसियों से संबद्ध होंगे। कहा गया है कि इसके इतर गृह मंत्रालय एनआईए के अंतर्गत ही एक नया संभाग बनाने की प्रक्रिया में है जो इस समूह से संबंधित केस की ही जांच करेगा।
अधिकारियों का मानना है कि वामपंथी उग्रवादियों को मुख्य रूप से उन प्राइवेट ठेकेदारों से अवैध वसूली के रूप में पैसे आते हैं जो सरकारी परियोजनाओं से जुड़े होते हैं। इसके अलावा लघु और मध्य स्तरीय उद्योंगों के मालिक से पैसे आते हैं। इसके अलावा ये लोग अपने विचाराधार से जुड़े साहित्यों को बेचकर भी पैसे अर्जित करते हैं। आरोप है कि जमीन स्तर के नक्सलियों द्वारा एकत्रित धन बड़े नेताओं के निजी धन में शामिल कर दिए जाते हैं। और फिर वे बड़े नेता इस पैसे से अपने बच्चों को ऊंची शिक्षा दिलाते हैं और अपने ऐश-मौज पर खर्ज करते हैं।
गृह मंत्रालय के अधिकारियों का कहना है कि सरकार के इस कदम से नक्सलियों को मिल रही फंडिंग पर रोक लगेगी और इससे उनकी गतिविधियों पर भी असर पड़ेगा। निश्चित रूप से सरकार का यह कदम नक्सलियों की गतिविधियों पर लगाम लगाने की दिशा में मील का पत्थर साबित होने वाला होगा।
URL: Modi government cracked the funding of Naxalites
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