अर्चना कुमारी। कहने के लिए तो तीन तलाक से मुस्लिम महिलाओं को आजादी दिलाने के लिए सक्षम कानून लागू है लेकिन उत्तर प्रदेश के शहर लखीमपुर खीरी में एक महिला ने आरोप लगाया है कि उसके पति ने तीन तलाक और हलाला के नाम पर बहनोई के साथ मिलकर गंदा खेल खेल रहा है। मुस्लिम महिला का कहना है कि उसके पति ने तलाक देकर हलाला के नाम पर अपने बहनोई के साथ उसका रेप कराया । महिला की शिकायत के आधार पर पुलिस ने मुकदमा दर्ज कर लिया है।
बताया जाता है कि अपनी इज्जत तार तार होते देख मुस्लिम महिला ने अपने पति पर तीन तलाक देने और फिर हालाला के नाम पर यौन शौषण का आरोप लगाते हुए एसपी को प्रार्थना पत्र दिया । एसपी ने मामले की जांच करवाकर तहरीर के आधार पर पति, सास और 2 बहनोई पर रेप का मुकदमा दर्ज करवाकर मामले की जांच शुरू करवा दी है। मामला सदर कोतवाली क्षेत्र का है। यहां कोतवाली क्षेत्र की रहने वाली एक महिला ने आरोप लगाया है कि उसका निकाह 12 साल पहले निघासन के रहने वाले मोहम्मद शाहिद अली से हुआ था। शाहिद आए दिन दहेज के नाम पर मारता-पीटता था। उसको तरह-तरह की यातनाएं देता था।
जब मन भर गया, तब शाहिद ने उसे तलाक दे दीया। लेकिन इसके बाद उसका गंदा खेल तब शुरू हुआ जब महिला का आरोप है कि उसके बाद शाहिद ने अपने बहनोई इलियास को बुलाकर हलाला के नाम पर उसका बलात्कार करवाया। हलाला के बाद शाहिद ने दूसरी बार फिर से निकाह कर लिया फिर उसे यातनाएं दीं, मारा-पीटा और एक बार फिर उसे तलाक दे दिया।
जब पीड़िता ने शाहिद के साथ रहने की जिद की तब शाहिद ने फिर हलाला कराने की शर्त रख दी और फिर जबरन अपने दूसरे बहनोई उमर से हलाला करवा दिया क्योंकि मुस्लिम धर्म में एक बार तलाक दिए जाने के बाद महिला की घर वापसी तभी हो सकती है जब उसका हलाला हो जाए। बताया जाता है,यह सिलसिला अभी रुका नहीं था, निकाह के कुछ दिन बाद फिर शाहिद ने उसे तलाक दे दिया और उस पर तीसरी बार हलाला का दबाव बनाया। यही नहीं इस्लाम के कानून का हवाला देते हुए शाहिद की मां ने भी पीड़िता पर दबाव बनाया। उसके बाद पीड़िता एसपी के पास न्याय की गुहार लगाने पहुंची है।
एसपी लखीमपुर खीरी गणेश प्रसाद साहा ने बताया कि एक महिला द्वारा तीन तलाक और उसके बाद उसके पति, सास और पति के बहनोई द्वारा जबरदस्ती यौन शोषण के मामले की तहरीर दी गई थी। तहरीर के आधार पर चारों पर मुकदमा दर्ज कर कार्यवाही शुरू कर दी गई है। लेकिन आरोपियों की गिरफ्तारी सुनिश्चित नहीं हो पाई है।