ISD Network. बुधवार सुबह सुप्रीम कोर्ट ने सुशांत सिंह राजपूत केस की जाँच सीबीआई को सौंपने का निर्णय सुना दिया। रिया चक्रवर्ती की याचिका न्यायालय ने ख़ारिज कर दी है। इसके साथ ही सीबीआई जाँच में जो रुकावट थी, वह समाप्त हो गई। ये जानकारी सुशांत सिंह प्रकरण में उनके परिवार की ओर से नियुक्त वकील ने दी। अब महाराष्ट्र और बिहार को इस मामले में जाँच का कोई अधिकार नहीं रहेगा। निर्णय आने के बाद सुशांत के परिवार ने ख़ुशी जताई है।
सुप्रीम कोर्ट ने सुनवाई में बिहार सरकार के पक्ष को सही मानते हुए ये निर्णय सुनाया। सुप्रीम कोर्ट ने मुंबई पुलिस को निर्देश दिए कि केस से संबंधित सभी जानकारी व् सबूत सीबीआई को सौंप दी जाए। इसके बाद भाजपा ने मुंबई पुलिस कमिश्नर के इस्तीफे की मांग कर डाली है। कोर्ट ने कहा कि इस मामले से जुड़ी हर एफआईआर सीबीआई के पास जाएगी।
गौरतलब है कि सुशांत केस की जाँच को लेकर बिहार और महाराष्ट्र सरकार में टकराव की स्थिति बन गई है। बिहार सरकार शुरू से ही केस सीबीआई को सौंपने की पक्षधर थी लेकिन महाराष्ट्र सरकार इसमें अड़ंगा डालती रही। सुशांत की हत्या को दो माह होने आए लेकिन मुंबई पुलिस केस में एफआईआर तक दर्ज नहीं करा सकी थी।
सुप्रीम कोर्ट का निर्णय आने से ठीक पहले सुशांत की बहन श्वेता कीर्ति सिंह ने एक ट्वीट किया। उन्होंने अपने ट्वीट में भगवान से प्रार्थना करते हुए लिखा है कि हमें अँधेरे से उजाले में लाए। इससे पहले सीबीआई एफआईआर दर्ज कर सुशांत के पुरे परिवार से पूछताछ कर चुकी थी। आत्महत्या के दो माह बाद सुप्रीम कोर्ट का ये निर्णय आया है।
निर्णय के बाद बिहार डीजीपी गुप्तेश्वर पांडे ने प्रसन्नता जाहिर करते हुए कहा कि न्यायालय भगवान का रूप होते हैं। उन्होंने कहा ये अन्याय पर न्याय की जीत है। ये लोकतंत्र की जीत है। सुशांत मामले में वकील विकास सिंह ने कहा कि सीबीआई अब सुशांत के साथ दिशा सालियान मामले की भी जाँच करेगी। सुशांत की बहन मीत ने ट्वीट कर ख़ुशी जाहिर की। भाजपा संसद सुब्रमणियम स्वामी ने खुश होते हुए कहा ‘सीबीआई की जय हो। अनुपम खेर ने भी ट्वीट कर प्रसन्नता जाहिर की।
सुशांत सिंह राजपूत की संदिग्ध ह्त्या पर रिया चक्रवर्ती की याचिका पर सुप्रीम कोर्ट ने फैसला सुरक्षित रख लिया था। कोर्ट को ये तय करना था कि इस मामले की जाँच कौन करेगा। इस मामले में केंद्र सरकार, महाराष्ट्र सरकार और बिहार सरकार पक्षकार हैं। सुशांत के चचेरे भाई नीरज बबलू ने आरोप लगाया था कि सबूत मिटाने के साथ गवाहों को धमकाया जा रहा है। इस केस से जुड़े कुछ लोगों ने न्यूज़ चैनलों पर आरोप लगाए थे कि कुछ लोग कॉल कर जान से मारने की धमकी दे रहे हैं। सुशांत केस के वकील विकास सिंह ने कहा कि सुशांत को यदि फंदे से लटककर मरना होता तो वह स्टूल की मदद लेते। पलंग पर चढ़कर लटकने में मौत होना संभव नहीं था।