विपुल रेगे। करण जौहर ने हिन्दी भाषा को लेकर जो कहा, वह सन 2017 में ही उनकी लिखी किताब में उजागर हो गया था। कुछ दिन पूर्व अंग्रेज़ी मीडिया ने किताब में लिखी बातों को फिर से वायरल कर दिया। इसके बाद हिन्दी मीडिया ने इसे हाथोहाथ लिया क्योंकि हिन्दी फिल्मों का निर्माता हिन्दी से घृणा करे तो वह बड़ी खबर होती है। करण जौहर के प्रोडक्शन की नई फिल्म ‘लाइगर’ रिलीज होने जा रही है। ऐसे में हिन्दी वाला विवाद उनकी फिल्म पर बुरा प्रभाव डालेगा या नहीं, ये तो समय बता देगा।
सोशल मीडिया के कारण अब पुराने बयानों और लिखी हुई बातों को ताज़ा करने में ज़्यादा मेहनत नहीं करनी पड़ती। जिस समय करण जौहर की आत्मकथा ‘एन अनसूटेबल बॉय’ प्रकाशित हुई थी, उस समय ये बातें नहीं उठाई गई थी। आज करण जौहर अपनी आत्मकथा के चलते मुश्किल में दिखाई दे रहे हैं। निश्चित ही टाइमिंग के साथ ये पुरानी जानकारी फिर से सामने लाई गई है। करण जौहर अपने पुराने पापों पर फिलहाल चुप्पी साधे हुए हैं।
उन्होंने अपनी आत्मकथा में लिखा है कि वे बचपन से ही स्टार किड्स के बीच में रहते थे। वे लड़कियों के करीब रहना अधिक पसंद करते थे। लड़कों से उनका मेलजोल अधिक नहीं होता था। करण लिखते हैं कि आदित्य चोपड़ा और उनके साथ के लड़के हमेशा हिन्दी में बातें किया करते थे, जिसे वे झेल नहीं पा रहे थे। एक ऐसा फिल्म निर्माता, जिसने अब तक हिन्दी फ़िल्में ही बनाई है और उनके पिता भी इसी धंधे में रहे। जौहर परिवार आज जिस शिखर पर है, हिन्दी के कारण ही है।
हालाँकि दर्शकों के बल पर बड़े एम्पायर खड़े कर देने वाले इस बात को नहीं समझते। ‘एन अनसूटेबल बॉय’ के कई अंश बहुत विवादित भी हैं, जो इस समय बाहर नहीं आ सके हैं। किताब में समलैंगिकता पर भी करण ने अपनी स्वीकारोक्ति दी थी। वर्तमान समय की बात करे तो करण को इस खुलासे से कोई फर्क पड़ता नज़र नहीं आता। या वे ऐसा सोचते होंगे कि हिन्दी को लेकर शर्मनाक बात लिख देने पर उनकी फिल्मों पर इसका कोई बुरा असर नहीं पड़ेगा।
इसे करण का दुःसाहस कहा जाएगा कि हिन्दी भाषा के बल पर ही वे करोड़ों का धन कमाते हैं और उन्होंने ऐसा लिखने की हिमाकत की। जब कुछ मीडिया हाउस ये खुलासा कर रहे थे, उस समय करण जौहर बॉलीवुड की फ़िल्में लगातार पिटने पर अपनी बात कह रहे थे। उन्होंने हिन्दी प्रकरण पर कोई प्रतिक्रिया नहीं दी है लेकिन बॉलीवुड के भविष्य को लेकर अवश्य बोले हैं। करण ने कहा कि हमारे पास ‘लाल सिंह चड्ढा’, ‘रक्षाबंधन’ और ‘ब्रह्मास्त्र ‘है।
फिर, रोहित शेट्टी की फिल्म सर्कस है और साल का अंत सलमान खान की फिल्म के साथ कर रहे हैं। उनका कहना था कि ये सब बकवास बाते हैं कि बॉलीवुड समाप्त हो रहा है। करण जौहर ने हिन्दी विवाद को लेकर कोई प्रतिक्रिया नहीं दी है। उनको ऐसा लगता है कि इसकी आवश्यकता भी नहीं है। करण की फिल्म ‘लाइगर’ के प्रोमो की धूम मची हुई है। फिल्म को लेकर युवा दर्शक बहुत उत्साहित दिखाई देते हैं। करण को पता है कि युवा दर्शकों को किसी भाषा के अपमान से कुछ खास फर्क नहीं पड़ता है।
इसलिए ही वे निश्चिन्त हैं और फिल्म की सफलता के प्रति बड़े आश्वस्त दिखाई दे रहे हैं। हिन्दी भाषा से करोड़ों कमाने वाले फिल्म निर्माताओं का इसके प्रति आदर इस बात से ही दिख जाता है कि वहां स्क्रिप्ट और डायलॉग रोमन में लिखकर दिए जाते हैं। करण को हिन्दी में बात करना डाउन मार्केट लगता है। जिस हिन्दी ने उनको आलिशान ज़िंदगी दी है, उसी डाउन मार्केट भाषा से उनको करोड़ों कमाने पड़ते हैं। करण जौहर की भी कैसी विवशता है।