दारुल उलूम देवबंद के गज़वा ए हिन्द को इस्लामिक लक्ष्य स्वीकार कर लेने वाले फतवे के बाद शिवशक्ति धाम डासना के पीठाधीश्वर व श्रीपंचदशनाम जूना अखाड़े के महामंडलेश्वर यति नरसिंहानंद गिरी जी ने दो वीडियो जारी करके हिन्दू समाज से इसकी गम्भीरता को समझने की अपील की है।
इस विषय मे महामंडलेश्वर यति नरसिंहानंद गिरी जी महाराज का कहना है कि हिन्दू समाज “गज़वा” शब्द के ठीक अर्थ को समझे।”गज़वा” का अर्थ किसी देश या राज्य को केवल जीत लेना नहीं है बल्कि इसका अर्थ है उस देश के काफिर और मुशरिकों को वहाँ से साफ करके कुफ्र और बुतपरस्ती को हमेशा के लिये समाप्त कर देना।
इसका अर्थ है कि गज़वा ए हिन्द का अर्थ हिंदुस्तान को जीतना नहीं बल्कि यहाँ के सभी काफिरो और मुशरिकों को खत्म करके यहाँ शरीयत को पूरी तरह से लागू करना है।अब से पहले किसी भी इस्लामिक संस्था ने इस अवधारणा को इस तरह से खुल कर स्वीकार नही किया था बल्कि गुप्त रूप से अंदरखाने इसका प्रचार करते थे।कहीं पर भी चर्चा होने पर मुस्लिम मौलाना और धर्मगुरु पुरजोर तरीके से इसका विरोध करते थे।
आज उन सबका झूठ उजागर हो गया है और उनके घृणित इरादे सबको पता चल गए हैं।दारुल उलूम देवबंद ने अपनी विजय को निश्चित समझ कर अब गज़वा ए हिन्द की अवधारणा को स्वीकार किया है।अब सारे दुनिया के जिहादी भारत भूमि को युद्धक्षेत्र बना कर ही दम लेंगे।
उन्होंने उत्तर प्रदेश के माननीय मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ जी से दारुल उलूम देवबंद पर बुलडोजर चलवाने और इसका नामो निशान मिटाने की प्रार्थना की।
उन्होंने यह भी कहा कि योगी और दूसरे नेता यदि कोई कार्यवाही नहीं करते तो हिन्दू समाज को आगे आकर अपनी आत्मरक्षा हेतु दारुल उलूम जैसी नापाक और मानवता विरोधी संस्था को ध्वस्त कर देना चाहिये।अगर इस बार भी सरकार और हिन्दुओ ने भुस पर लीपने का कार्य किया तो इतिहास उन्हें कभी क्षमा नहीं करेगा।
महामंडलेश्वर यति नरसिंहानंद गिरी जी महाराज के साथ यह वक्तव्य जारी करते हुए यति रामस्वरूपनन्द, यति निर्भयानंद,यति रणसिंहानन्द, यति यतींद्रानंद, यति आत्मानंद व यति रामसिंहानन्द जी भी थे।
यति सन्यासियो ने यह तय किया कि अगर एक माह में योगी आदित्यनाथ जी दारुल उलूम देवबंद को ध्वस्त नहीं करते तो देवबन्द में महापंचायत बुला कर ठोस निर्णय लिए जाएंगे।