अर्चना कुमारी। मणिपुर में दो कुकी महिलाओं को निर्वस्त्र कर घुमाने के मामले को लेकर खूब बवाल मचा। सर्वोच्च अदालत से लेकर प्रधानमंत्री और विपक्षी नेताओं ने इस घटना की आलोचना की और इस घटना का मास्टरमाइंड भी 24 घंटे के भीतर पकड़ लिया गया लेकिन बंगाल में तृणमूल कांग्रेस के कार्यकर्ताओं ने एक महिला को निर्वस्त्र कर घुमाया लेकिन कहीं भी कोई चर्चा नहीं कर रहा। ना तो कोई मुख्यमंत्री ममता बनर्जी का इस्तीफा मांग रहा है और ना ही उसकी आलोचना की जा रही है।
बताया जाता है कि घटना पश्चिम बंगाल पंचायत चुनाव के दौरान हुई थी, जब एक महिला को निर्वस्त्र कर उसे सड़कों के बीच घुमाया गया। पश्चिम बंगाल में ग्राम पंचायत की महिला प्रत्याशी ने ममता बनर्जी की पार्टी तृणमूल कांग्रेस के कार्यकर्ताओं पर छेड़छाड़ और शारीरिक रूप से प्रताड़ित करने का आरोप लगाया । उसका कहना है कि यह पूरा घटनाक्रम 8 जुलाई का है, जिस दिन पंचायत चुनाव के लिए मतदान हुआ था।
महिला प्रत्याशी का आरोप है कि तृणमूल कार्यकर्ताओं ने उसे निर्वस्त्र कर पूरे गांव में घुमाया। यह घटना हावड़ा जिले के पांचला इलाके की है। महिला ने पुलिस में दर्ज अपनी शिकायत में कहा है कि तृणमूल कांग्रेस के लगभग 40 उपद्रवियों ने उसे मारा-पीटा। कपड़े फाड़ने की कोशिश की और मुझे नग्न होने पर मजबूर किया। सबके सामने छेड़छाड़ की। गलत तरीके से छूने की कोशिश की।
इस मामले को लेकर एफआईआर की गई और तृणमूल प्रत्याशी हेमंत राय, नूर आलम, अल्फी एसके, रणबीर पांजा संजू, सुकमल पांजा समेत कई लोगों को आरोपी बनाया गया बंगाल पंचायत चुनाव के दौरान एक महिला को सरेआम नग्न करने और उसे मारने पीटने की घटना सामने आ रही है। क्या मणिपुर की तरह बंगाल मामले को भी लेकर सारे नेता एक सुर में संसद में बंगाल पर चर्चा की मांग करेंगे