कोनराड ने ठीक कहा है , हिंदू युद्ध को हार रहा है ;
जब सेनापति दुर्बल हो , वो युद्ध कभी क्या जीत रहा है ?
हिंदू तुमको लड़ना है , तुमको युद्ध जीतना है ;
सेनापति को फौरन बदलो , शूरवीर को लाना है ।
शूरवीर योगी – हेमंता , तत्क्षण इनको लाना है ;
जब शूरवीर हो सेनापति , तब ही विजयी होना है ।
अब हिंदू जितनी देर करेगा , उतना ही ज्यादा रक्त रहेगा ;
हिंदू-रक्त नहीं है पानी , सेनापति को बदलना होगा ।
पार्टी वालो होश में आओ , फौरन सही फैसला लो ;
वरना हार करारी होगी , अभी से मुँह काला कर लो ।
अब हिंदू का कदम हो अगला , नयी पार्टी लाना है ;
हिंदूवादी वीर-शिरोमणि को ही , विजय दिलाना है ।
ऐसा ही ध्रुव – तारा चमका , जम्मू के आकाश में ;
“इकजुट-जम्मू” नाम है इसका , चमका स्वयंप्रकाश में ।
अंकुर शर्मा नेतृत्व कर रहे , सर्वश्रेष्ठ सेनापति हैं ;
“इकजुट-भारत”बनके रहेगा,पूर्ण समर्पित इसके प्रति हैं ।
गांव – गांव में शहर – शहर में , इसकी अलख जगाना है ;
तब ही जीवन पाये हिंदू , “इकजुट-भारत” लाना है ।
कोनराड आगाह कर रहे , अब तो हिंदू होश में आओ ;
सर्वश्रेष्ठ है धर्म – सनातन , मिलकर रक्षा करने आओ ।
जब तक धर्म-सनातन होगा, तब तक दुनिया बची रहेगी ;
वरना दुनिया मिट जायेगी , चारों तरफ कयामत होगी ।
बर्बर – हिंसा , नरसंहार , हत्याओं का दौर चलेगा ;
जब होगा सेनापति दुर्बल , तब ऐसा ही दौर रहेगा ।
अपनी जान के दुश्मन हिंदू , पता नहीं ये कब चेतेंगे ?
जब पानी सर से ऊपर होगा , मरने से तब नहीं बचेंगे ।
अब भी पानी गर्दन तक है , फौरन बचने का यत्न करो ;
अपनी सारी कमजोरी त्यागो,शक्ति संग्रह का प्रयत्न करो ।
“इकजुट-जम्मू” उदय हो चुका , एकजुट हिंदू हो जाओ ;
“इकजुट-भारत” इसे बनाकर , देश को हिंदू-राष्ट्र बनाओ ।
“जय हिंदू-राष्ट्र”
रचनाकार : ब्रजेश सिंह सेंगर “विधिज्ञ”